सिद्धान्त-जब सिलिकॉन सैल पर प्रकाश पड़ता है तो फोटोइलैक्ट्रिक प्रभाव के कारण विद्युत उत्पन्न होती है। इसी तथ्य को विद्युत उत्पन्न करने में प्रयोग किया जाता है।
उद्देश्य-सिलिकॉन सैल द्वारा विद्युत का प्रयोग करना ।
आवश्यक सामान-सिलिकॉन सैल या L.D.R, एक मल्टीमीटर, गत्ते का एक डिब्बा, विद्युतरोधी दो तार, एक टेबल लैम्प ।
सिलिकॉन सैल से विद्युत बनाने की विधि-
1. पहले सिलिकॉन सैल या L.D.R एक डिब्बे के ऊपर लगा दो ।
2. मल्टीमीटर से दो तार जोड़कर डिब्बे के दोनों सिरों से जोड़ लो। मल्टीमीटर को अब वोल्टेज मोड़ पर रखी।
3. टेबल लैम्प के बल्ब को सिलिकॉन सैल के सामने जलाएं और उसकी रोशनी सोलर सैल पर पड़ने दें। अब आपको दिखाई देगा कि मल्टीमीटर में कुछ रीडिंग आती है।
4. अब धीरे-धीरे टेबल लैम्प को सोलर सैल की तरफ खिसकाते रहो। टेबल लैम्प की हर स्थिति का ज्ञान करने के लिये मल्टीमीटर की रीडिंग लेते जाओ। इस प्रकार देख सकते है कि टेबल लैम्प की हर स्थिति का ज्ञान रीडिंग द्वारा होता है।
नोट- इस प्रयोग द्वारा सिलिकॉन सैल (सोलर सैल) प्रकाश को विद्युत धारा में परिवर्तित कर देती है। इसे विद्युत का प्रकाशीय प्रभाव कहते हैं। इस प्रयोग के आधार पर बहुत सारे सोलर सैल एक-दूसरे के साथ जुड़कर सूर्य के प्रकाश को विद्युत में बदल सकते हैं। आजकल सोलर सैलों से चलने वाले कैलकुलेटर और रेडियो बाजार में उपलब्ध हैं।